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Mahashivaratri 2024: अनोखा हैं जयपुर का यह शिव मंदिर, श्री कृष्ण ने की थी पूजा, जयपुर का अंबिकेश्वर महादेव मंदिर Fri, 8 Mar, 2024

मंदिर में स्थापित नंदी जी की मूर्ति लगभग 3000 साल से भी अधिक पुरानी है । इस मंदिर में माता पार्वती नहीं हैं। शिव मंदिर में पार्वती की जगह विराजमान माता गायत्री हैं।  इस मंदिर में हिंदी फिल्‍मों की शूटिंग भी होती हैं । धड़क, भूल भूलैया जैसे कई फिल्मों की शूटिंग हो चुकी है । मंदिर के कुछ भाग फिल्म में दर्शाये जाते हैं । 

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जयपुर के इस मंदिर के पट सिर्फ महाशिवरात्रि के दिन खुलते हैं। साल में सिर्फ एक बार ही खुलता है एकलिंगेश्वर मंदिर। Mahashivaratri: 2024, Fri, 8 Mar, 2024

। इस घटना के बाद लोग डर गये और फिर कभी भगवान शिव के परिवार की मूर्ति नहीं रखी गयी।

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शिवजी का ऐसा चमत्कारी मंदिर, जहां होती है पाप मुक्ति। गौतमेश्वर महादेव मंदिर अरनोद जिला प्रतापगढ़ राजस्थान, Mahashivatarti 2024  

मान्यता है कि एक जानवर को मारने के लिए गौतम ऋषि को श्राप मिला था। गौतम ऋषि इस मंदिर के कुंड में डुबकी लगाये थे। तब उन्हें इस श्राप से छुटकारा मिला था।

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गुलाबी नगरी के इस मंदिर में महादेव स्वयं प्रकट हुए थे, ये है इसका पौराणिक इतिहास, शिवरात्रि पर जरूर विजिट करें Maha Shivaratri 2024 पर घूमने लायक राजस्थान के 5 प्रसिद्ध मंदिर

जयपुर जो गुलाबी नगरी (Pink City) के नाम से भी प्रसिद्ध है। यह अपने तरह – तरह के अनोखे महलों

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रांची झारखण्‍ड पर्यटन स्‍थल, झारखण्‍ड के प्रसिद्ध पर्यटन स्‍थल, Top 7 BEST Places to Visit in Jharkhand, Tourist Places Jharkhand

हजारीबाग का नाम हजारी प्रसाद द्विवेदी के नाम से नहीं चुराया गया है। इसमें ज्‍यादा नहीं सोचना है। हां इसका मायने जरुर होता है: हजार बाघों वाला शहर।

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झारखण्‍ड के टॉप पर्यटन स्‍थल की जानकारी,  Top 10 BEST Places to Visit in Jharkhand, Tourist Places Jharkhand, Jharkhand Tourism

आप झारखण्‍ड जाने का मन बना रहे हैं पर क्‍या करें कुछ सवाल आपके दिमाग में कूदने लग रहा है।

दिमाग की बैटरी को डाउन करने वाले प्रश्‍न: झारखंड में मशहूर चीज क्या है? झारखण्‍ड में सबसे प्रसिद्ध क्या है? झारखंड में कौन कौन से तीर्थ स्थल है?

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गुलाबी नगरी / पिंक सिटी जयपुर, जयपुर क्‍यों फेमस है? जयपुर का इतिहास, जयपुर का पुराना नाम, जयपुर की स्‍थापना कब हुई और किसने की  

यह शहर अपने प्रभावशाली भवन निर्माण और अच्छी संस्कृति के लिए प्रसिद्ध है । जयपुर तीनों तरफ से अरावली पर्वतमाला से घिरा हुआ है । जयपुर के पुराने घरों में गुलाबी धौलपुरी पत्थर लगे हुए हैं ………जयपुर लगभग 6 भागों में बंटा हुआ है जो 111 फुट 34 मीटर चौड़ी सड़कों से अलग है

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जानें बुद्ध की माता महामाया के ‘सूंड में श्‍वेत कमल लिये हाथी’ के सपने के बारे में

महारानी महामाया देखीं कि बोधिसत्‍व श्‍वेत हाथी के रूप में तावतिंस लोक से आ रहे हैं। उनका सूंड बहुत ही सुन्‍दर लग रहा है। वे सूंड में श्‍वेत कमल का फूल लिये हुए हैं।

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जानें गौतम बुद्ध की माता महामाया के गुणों के बारे में

………………. वह दान करने वाली होतीं हैं। उनका सदाचार भी बहुत उच्‍च कोटि का होता है। वाणी से, काय से और मन से बहुत संयमित होती हैं। इन तीनों ही प्रकारों से किसी को किसी प्रकार का अहित नहीं सोचती हैं। उनमें त्‍याग का भाव बहुत अधि‍क होता है। ज्ञान अर्जन करने की लालशा होती है। किसी से भी ज्ञान अर्जत करने के लिए उत्‍सुक होते हैं। उत्‍साह की कोई कमी नहीं होती है। …………..

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बौद्ध धर्म पारिवारिक बंधन को रखता है मजबूत।

बौद्ध धर्म ने सतर्क संवाद पर बड़ा जोर दिया है। अपने विचारों को आत्‍म विश्‍वास के साथ व्यक्त करने और दूसरों के विचारों को सहानुभूति के साथ सुनने की कला हमें बुद्ध ने सिखाया है।